जी हां भाई अब तो यही कहना पडता है कि इन ब्लोग्स को हमने घुस घुस कर पढ लिया , काहे से कि चर्चा तो हमारी होती नहीं है न ये .....अरे चर्चा हम करते भी नहीं हैं भाई , तो बस आप भी इन पोस्टों की पूंछ ( अरे हम पूंछ तो पकड के ले ही आए हैं न जी ) पकड के जाईये और सब घूम घाम के आईये न जी
राज भाई पहुंचे वापस घूम के अपना देश,
सबके प्यार में देखो बिक गया गबरू जवान,
लैसी मारी जाती है लंगी , और कैसी जाती टांग है अडाई ,
इस पोस्ट पर कैसी बकवास मची है ,
डूबे जी ने कर दी है पिक्चर एक रीलीज़ ,
क्यों कई लोग अपनी टीप बक्से में लगा रहे हैं ताला ॥
ब्लोग जगत में देखिए महाशिवरात्रि का पर्चा ,
आज नहीं गज़ल शेर , पर कलम में वही रवानी,
वकील साहब ने आज फ़िर लिखा है कमाल ,
एक जरूरी पोस्ट आप अवश्य पढें श्रीमान ,
पोस्ट पढते पढते डूब गया तन मन ॥
गगन जी कुछ अलग सी बात बताने चले हैं ,
सुंदर सुंदर पंक्तियां , छाई फ़ाग की बदरिया ॥
भैय्या ई अंगुली जाने किसका करे विरोध , किसका करे सपोर्ट ॥
जिन्हें मनाना हो इस बार , वो जाके सीख ले ॥
सबको अपने नाम का इतिहास कहां पता होता है ,
देखिए कौन कौन पढ आया कौन आया टिपियाय ॥
पहुंचिए ,पढिए, टीपीए कोई नहीं व्यवधान
बस पढना और आनंद लेना , टीपना मना है भाई ॥
अपनी भी ब्लोग पोस्ट आज छपी है भाई,
डा साहिबा को पढ के यहां पर टिपियाईये न ॥
हिंदी को बर्बादी के रास्ते पर मत ले जाईये,
चंदन जी कर रहे हैं कुछ बातें इधर उधर की ,
वेलेन्टाईन डे पर पढिए कुछ लव के फ़ेवर में ,
अरे बाप् रे कैसी ये चेतावनी दे रहा है ब्लोग बुखार
जिनको जिनको पता हो जवाब , जरूर दे के आना ॥
तो आज के लिए इतना ही जी राम राम
आपने पढ़ा और सभी को पढ़ा दिया..बहुत बढ़िया....कुछ तो हम पहले ही पढ़ चुके थे और कुछ के बारें में आप के यहाँ से जानकारी मिली....
जवाब देंहटाएंआज बडे फुर्सत में लग रहे हैं .. पोस्ट पर पोस्ट लिख रहे हैं .. बहुत सारे महत्वपूर्ण लिंक्स मिले !!
जवाब देंहटाएंआपने फ़ुरसत से लिखा और हमने फ़ुरसत से पढ लिया।
जवाब देंहटाएंफुरसत हो तो यहां भी कुछ कविताएं पढ़ लीजिए। http://namitarakesh.blogspot.com/
जवाब देंहटाएंAchhe links diye aapne....Dhanyawaad!!
जवाब देंहटाएंhttp://kavyamanjusha.blogspot.com/
हमने भी फुरसत से पढ़ लिया :-)
जवाब देंहटाएंबी एस पाबला
हमने भी फुरसत से पढ़ा...
जवाब देंहटाएंआज फिर फुर्सत में हम कुछ ब्लोग्स पढ गए
जवाब देंहटाएंऔर साथ साथ उनके लिंक्स हत्थे चढ गए
अब आप भी क्या याद करेंगें झा जी
हम भी ये टिप्पणी आपके "मत्थे" मढ गए :)
बहुत सुंदर जी, इतने सारे लिंक एक जगह मजेदार, धन्यवाद
जवाब देंहटाएंअच्छे चिट्ठे(मेरे को छोड़) चुन-चुनकर(शोले के वीरू की तरह नहीं)लाये हैं..
जवाब देंहटाएंहम भी इनको सर माथे से लगाये हैं...
जय हिंद... जय बुंदेलखंड...
ओह हां यार दीपक तुम्हारी पोस्ट पता नहीं क्यों छूटी चलो अगली चर्चा तुम्हारी पोस्ट से ही शुरू होगी पक्का
जवाब देंहटाएंबहुत ब्लॉग पढ़ लिये भैया ..हम तो इतने नही पढ- पाते और चर्चा भी कर दिये वाह वाह ।
जवाब देंहटाएंकाश!! ऐसी ही फुरसत आपको मिलती रहे..और हम खुश होते रहें.
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जवाब देंहटाएंआपका फ़ुरसत साला-मत रहे, लेकिन पोस्ट आपके हत्थे चढ़ते रहें ।
हम काहिलों को अच्छे लिंक मिलते रहें, फिर जीने को क्या चाहिये..
उपयोगी लिंक-दान ! हमारे सर माथे । पढ़ लिया सबको । आभार ।
जवाब देंहटाएंबहुत सुंदर और उपयोगी लिंक्स.
जवाब देंहटाएंरामराम.
फुरसत में ब्लोग पढ़ना झा जी का है कारोबार
जवाब देंहटाएंहम आते हैं उनके पोस्ट पर और लिंक्स मिलते हैं जोरदार!
बढिया, बहुत ही परिश्रम के साथ लिखा गया। बधाई।
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर चर्चा!
जवाब देंहटाएंप्रेम दिवस की हार्दिक बधाई!
nice
जवाब देंहटाएं:)
बहुत बढ़िया....
जवाब देंहटाएंअभी तो रिसेंट मेम्बर बनता हूँ फिर इत्मीनान से सबको पढूंगा. काम का ब्लॉग लगता है!
जवाब देंहटाएंबेहद सुन्दर व सारगर्भित चर्चा. कई नए ब्लोग्स के लिंक भी मिले.
जवाब देंहटाएं...............................
"शब्द-शिखर" पर इस बार अंडमान के आमों का आनंद लें.
फुर्सत में पढने का मजा ही कुछ और है..रोचक चर्चा.
जवाब देंहटाएं______________
शब्द सृजन की ओर पर पढ़ें- "लौट रही है ईस्ट इण्डिया कंपनी".
होली की हार्दिक शुभकामनाएँ।।
जवाब देंहटाएंझा जी ,कभी फुर्सत निकाल कर हमारे आशियाने में भी दस्तक दे आईएगा.
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